Jambhsar Media, New Delhi : सैलरी के खत्म होने के बाद शॉपिंग या फिर किसी और काम करने के लिए पैसों की आवश्यकता होती है। ऐसे में लोग क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल कर सकते हैं। बेशक ये हमारी छोटी-मोटी जरूरतों को पूरा करने के लिहाज से काफी सुविधाजनक हैं। लेकिन यदि इसका उपयोग समझ न किया जाए तो ये परेशानी का सबब बनता है। क्रेडिट कार्ड हमें किस प्रकार से कर्ज के डाल में फंसा सकता है और उससे बचने का क्या उपाय है।
क्रेडिट कार्ड पैसों की जरुरत को पूरा करता है। लेकिन यदि आप समय से बिल का भुगतान नहीं करते हैं तो आपको 30 फीसदी से ज्यादा ब्याज अदा करना होता है। ऐसे में समय पर बिल अदा करने के लिए दोस्तों और रिश्तेदारों से उधार लेना पड़ सकता है और फिर लोन के जाल में फंसते जाएंगे।
काफी बार ईकॉमर्स साइट पर काफी लुभावने ऑफर दिखते हैं और हम अपना क्रेडिट कार्ड निकाल लेते हैं। हमें ध्यान रखना होगा कि क्रेडिट कार्ड से किया गया खर्च कर्ज ही होता है। ऐसे में हमें हमेशा खर्च अपनी आवश्यकताओं के हिसाब से ही करना चाहिए और ऑफर के जाल में नहीं फंसना चाहिए।
एक से ज्यादा क्रेडिट कार्ड रखने पर उनको संभालने का मसला होता है। काफी बार समय से बिल को भरना कठिन हो जाता है। इसके साथ में एनुअल फीस जैसे खर्च जुडें होते हैं। एक से ज्यादा क्रेडिट कार्ड होने पर फिजूलखर्ची की लत भी लग सकती है।
क्रेडिट कार्ड हाथ में होने पर हम आंख बंद करके खर्च करने लगते हैं लेकिन हमें लिमिट का 30 फीसदी तक खर्च करना है। इससे ज्यादा खर्च करने पर क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेशियों भी बढ़ जाता है। इससे क्रेडिट स्कोर पर असर पड़ता है।
काफी बार क्रेडिट कार्ड होने पर लोग अचानक से बंद करा देते हैं। लेकिन इससे क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेशियों भी बढ़ जाता है। ये रेशियों पहले दो कार्ड्स में बंटा था। जो कि अब एक ही कार्ड पर डिपेंट होगा। इससे भी क्रेडिट स्कोर पर असर होता है।