इन किसानों को 15 हजार रुपये प्रति एकड़ के हिसाब से मुआवजा देगी सरकार, बस करना होगा ये काम

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Jambhsar Media News Digital Desk नई दिल्‍ली : पिछले कई दिनों से मौसम का मिजाज बदला हुआ है। उत्तर प्रदेश समेत पूरे उत्तर भारत में बारिश का सिलसिल चल रहा है। यूपी के कई जिलों में भारी बारिश और ओलावृष्टि हुई है जिसके चलते किसानों की फसलों को काफी नुकसान हुआ है। ऐसे में सरकार ने किसानों मुआवजा देने की बात कही है। किसानों को मेरी फसल मेरा ब्‍यौरा पोर्टल पर रजिस्‍ट्रेशन करवाना होगा। आइए नीचे खबर में जानते हैं कौन कौन से डॉक्यूमेंट की आवश्कता पड़ेगी। 

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देशभर में लगातार हो रही बारिश और ओलावृष्टि ने पूरे हरियाणा में किसानों की फसलों को पूरी तरह से बर्बाद कर दिया है। बारिश से गेहूं और सरसों की फसलों को सबसे ज्यादा नुकसान पहुंचा है। इस बीच, परेशान किसानों को राहत देने के लिए हरियाणा सरकार ने अपना हाथ आगे बढ़ाया है। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने हरियाणा के किसानों से अपील करते हुए कहा है कि हरियाणा में बेमौसम हुई बारिश और ओलावृष्टि की वजह से फसली नुकसान की जानकारी ई-क्षतिपूर्ति पोर्टल पर अपलोड करें, ताकि फसलों के नुकसान का आकलन किया जा सके।

उन्होंने आगे कहा कि क्षतिपूर्ति पोर्टल पर किसान अपनी फसलों में हुए नुकसान की जानकारी 15 मार्च, 2024 तक अपलोड कर सकते हैं। बता दें कि किसानों को पहले खराब फसल की जानकारी पोर्टल पर दर्ज करवानी पढ़ेगी। इसके बाद सरकार अधिकारियों से इस का सर्वे करवाएगी। इसके बाद ही किसानों के अकाउंट में फसलों के नुकसान का मुआवजा भेजा जाएगा। किसानों को यहां दिए गए वेबसाइट www।ekshatipurti।haryana।gov।in पर अपनी फसलों के नुकसान का विवरण तय समय से पहले भरना होगा। इसी के साथ सरकार ने पहले से यह शर्त रखी हुई है कि उन्हीं किसानों को मुआवजा मिलेगा, जिन्होंने अपना “रजिस्‍ट्रेशन मेरी फसल मेरा ब्‍यौरा” पोर्टल पर दर्ज किया हुआ है।

जानकारी के मुताबिक, किसानों को पहले जानकारी देनी होगी कि बारिश से उनकी फसलों को कितना नुकसान पहुंचा है। इसके बाद हरियाणा सरकार पटवारी से वेरिफाई करवाएगी और नुकसान के आकलन और सत्यापन के आधार पर ही किसानों को मुआवजा दिया जाएगा। राज्य सरकार की इस योजना के तहत, जिन किसानों ने फसलों का बीमा नहीं करवाया हुआ है उन किसानों को फसल के 75 फीसदी से अधिक नुकसान के लिए 15 हजार रुपये प्रति एकड़ और 50 से 75 फीसदी के बीच फसल नुकसान होने पर 12 हजार रुपये प्रति एकड़ की दर से मुआवजा दिए जाने का प्रावधान है। 

आपको बता दें कि इन दिनों रबी सीजन की प्रमुख फसल गेहूं और सरसों कटाई के लिए एकदम तैयार है। मगर बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों की सभी उम्मीदों पर पानी फेर दिया। मौसम विभाग की मानें तो हरियाणा के 570 गांवों में बारिश और ओलावृष्‍टि का असर देखा गया है। रिपोर्ट के अनुसार, इनमें से 200 से ज्यादा गांवों में करीब तीन लाख हेक्टेयर में गेहूं और सरसों की फसल को नुकसान होने की संभावना जताई गई है।

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Rameshwari Bishnoi

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