इस सरकारी स्कीम से आप बिज़नेस शुरू करने के लिए ले सकते हो लोन 

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Jambhsar Media Digital Desk : अगर आप भी अपना कोई नया बिजनेस शुरू करना चाहते है तो ये खबर आपके लिए है। दरअसल अगर आपको बिजने शुरू करने के लिए पैसो की जरूरत है तो इन सरकारी स्कीमों से आपको लोन मिल सकता है। सरकारी स्कीमों से जुड़ी पूरी डिटेल जानने के लिए खबर को पूरा पढ़े। 

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पिछले कुछ साल में भारत में उद्यमियों की संख्या में तेजी से इजाफा हुआ है. लोग अब खुद का बिजनेस करने में रुचि दिखा रहे हैं. स्टार्टअप करने के लिए लोग लोन का सहारा लेते हैं. ऐसे में भारत सरकार ने स्टार्टअप्स और मौजूदा कंपनियों को अपना संचालन जारी रखने के लिए फाइनेंशियल हेल्प करने के लिए प्रभावी कदम उठाए हैं. चलिए जानते हैं ऐसे 5 सरकारी स्कीम के बारे में जिनकी मदद से आप अपने बिजनेस या स्टार्टअप को आसानी से आगे बढ़ा सकते हैं. 

प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (PMMY) प्रधानमंत्री की ओर से शुरू की गई एक स्कीम है, जिसके तहत गैर-कॉर्पोरेट, गैर-कृषि लघु/सूक्ष्म उद्यमों को 10 लाख रुपये तक का लोन दिया जाता है. ये लोन कमर्शियल बैंकों, RBI, लघु वित्त बैंकों, MFI और NBFC द्वारा दिए जाते हैं, या इस पोर्टल www.udyamimitra.in के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकता है. इस योजना को तीन श्रेणियों में बांटा जाता है, जिसके तहत: 

 शिशु: 50,000/- रुपये तक का लोन 
– किशोर: 50,001 रुपये से 5,00,000 रुपये तक का लोन 
– तरुण: 5,00,001 से रु. 10,00,000/- रुपये का लोन दिया जाता है. 

इस स्कीम के तहत शिशु और किशोर के लिए जीरो प्रोसेसिंग फीस है. वहीं तरूण के लिए 0.50% प्रोसेसिंग फीस है. 

जमीनी स्तर पर महिला और SC/ST उद्यमियों को प्रेरित करने के लिए स्टैंड अप इंडिया स्कीम (Stand up India Loan Scheme) के तहत ₹10 लाख से लेकर ₹1 करोड़ तक के लोन बिना किसी कॉलेटरल के दिए जाते हैं. 7 साल के रीपेमेंट शेड्यूल के हिसाब से लोन दिया जाता है, जिसका मोरेटोरियम पीरियड (moratorium period) 18 महीने का हो सकता है. स्टैंड अप इंडिया स्कीम के तहत कारोबार को शुरू करने के दौरान पहले 3 वर्ष तक इनकम टैक्स में छूट मिलती है. इसके बाद इस पर बेस रेट के साथ 3 फीसदी का ब्याज दर लगता है, जो कि टेन्‍योर प्रीमियम से अधिक नहीं हो सकता है. 

NSIC मार्केटिंग, टेक्नॉलोजी, फाइनेंस और अन्य सहायता सेवा के तहत सेवाएं प्रदान करता है. इसका उद्देश्य माइक्रो, स्मॉल एंड मीडियम एंटरप्राइजेज (MSMEs) सेक्टर को बढ़ावा देना है. इस योजना के तहत दो तरह के लोन दिए जाते हैं:

– मार्केटिंग सहायता योजना: इस स्कीम के तहत मिलने वाली राशि का उपयोग अपनी पेशकशों के बाजार मूल्य को बढ़ाने के लिए कर सकते हैं. इससे व्यवसाय को बढ़ावा देने, मार्केटिंग और बाजार तक पहुंच बढ़ाने में काफी मदद मिल सकती है.
– क्रेडिट सहायता योजना: इस योजना के तहत कच्चे माल की खरीद, वित्त, मार्केटिंग आदि के लिए वित्तीय सहायता प्राप्त की जा सकती है.

स्टार्टअप कल्चर को बढ़ावा देने के लिए सरकार की क्रेडिट गारंटी स्कीम के तहत स्टार्टअप कंपनियों को अधिकतम 5 करोड़ रुपए का लोन बिना किसी गारंटी के मिल जाएगा. इस योजना के लिए, मंजूरी राशि पर 2% प्रति वर्ष की दर से घटाकर 0.37% गारंटी शुल्क का भुगतान कर दिया गया है. 

सरकार ने वर्किंग कैपिटल की जरूरतों को पूरा करने में मदद करने के लिए, MSME लोन स्कीम को शुरू किया है. इस स्कीम के तहत, कोई भी नया या मौजूदा उद्यम 1 करोड़ रुपये तक का लोन प्राप्त कर सकता है. आमतौर पर, लोन की प्रक्रिया पूरी होने में लगभग 8-12 दिन लगते हैं और लोन के लिए दिए गए आवेदन की स्वीकृति/अस्वीकृति में मात्र 59 मिनट का ही समय लगता है. 

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Rameshwari Bishnoi

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